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अरबाज उस्मान और असद-गुलाम का एनकाउंटर... अब अतीक-अशरफ का मर्डर, 24 फरवरी से अब तक की टाइमलाइन प्रयागराज। उमेश पाल हत

अरबाज उस्मान और असद-गुलाम का एनकाउंटर... अब अतीक-अशरफ का मर्डर, 24 फरवरी से अब तक की टाइमलाइन

प्रयागराज। उमेश पाल हत्याकांड में आरोपी माफिया अतीक अहमद और उसके भाई की प्रयागराज में गोली मारकर हत्या कर दी है. तीन हमलावरों ने दोनों को नजदीक से निशाना बनाकर कई राउंड फायर किए. एक हमलावर ने तो अतीक के सिर पर पिस्टल सटाकर फायरिंग की. वारदात को अंजाम देने के बाद हमलावरों ने पुलिस के सामने सरेंडर कर दिया. इस सनसनीखेज वारदात के बाद यूपी में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है।

यें हत्याकांड अतीक के बेटे असद को दफनाए जाने के करीब 12 घंटे के आसपास हुआ है. गौरतलब है कि उमेश पाल हत्याकांड के बाद पुलिस की कई टीमें आरोपी शूटर्स की तलाश कर रही थीं. इसी क्रम में पुलिस और शूटर के बीच पहली मुठभेड़ हत्याकांड के तीसरे दिन यानी कि 27 फरवरी को हुई थी।

नेहरू पार्क के जंगल में मारा गया था अरबाज

तब अरबाज नाम के बदमाश को पुलिस ने ढेर किया था. ये एनकाउंटर नेहरू पार्क के जंगल में हुआ था. इसमें एक पुलिसकर्मी भी घायल हुआ था. अरबाज वही बदमाश था जो कि हत्याकांड में प्रयुक्त क्रेटा कार चला रहा था. वो अतीक का करीबी था और उसकी गाड़ी भी चलाता था।

6 मार्च को मारा गया था विजय कुमार उर्फ उस्मान

इसके बाद 6 मार्च को एक और आरोपी विजय कुमार उर्फ उस्मान चौधरी एनकाउंटर में मारा गया था. पुलिस और उस्मान के बीच ये मुठभेड़ प्रयागराज के कौंधियारा इलाके में हुई थी. उस्मान वो शूटर था, जिसने उमेश पाल को पहली गोली मारी थी।

इसके बाद 13 अप्रैल को यूपी एसटीएफ ने असद और उसके साथी मोहम्मद गुलाम को झांसी से 30 किलोमीटर दूर बड़ागांव और चिरगांव के पास एनकाउंटर में ढेर कर दिया था. पुलिस के दावे के मुताबिक, असद और मोहम्मद गुलाम पारीछा बांध के पास छिपे बैठे थे. इसी दौरान पुलिस ने उन्हें घेरा और सरेंडर करने के लिए कहा. मगर, आरोपियों की ओर से फायरिंग शुरू कर दी गई. इसके बाद एसटीएफ ने जवाबी कार्रवाई की, जिसमें दोनों मारे गए।

उमेश पाल हत्याकांड में शामिल 7 शूटर्स में से अभी तीन बचे हैं, जिनकी पुलिस तलाश कर रही है. इसमें गुड्डू मुस्लिम, साबिर और अरमान हैं।

गुड्डू मुस्लिम: अपराध की दुनिया में गुड्डू मुस्लिम को बमबाज के नाम से जाना जाता है. उसने उमेश पाल की हत्या में बमबाजी की थी. कहा जाता है कि बम बनाने में वो इतना माहिर है कि चलते-फिरते भी बम बना सकता है. उसका अपराध और माफिया से पुराना रिश्ता रहा है. साल 1997 में लखनऊ के लॉ मार्टिनियर कॉलेज में बॉयज हॉस्टल के वॉर्डन और स्पोर्ट्स टीचर पीटर गोम्स की गोलियों से भूनकर हत्या कर दी गई थी. इसके बाद अतीक ने ही उसकी जमानत कराई थी।

साबिर : साबिर को माफिया डॉन अतीक अहमद का बेहद खास माना जाता है. वो माफिया का ड्राइवर भी रह चुका है. शूटर साबिर अभी पुलिस की गिरफ्त से दूर है, जिसकी तलाश में पुलिस दिन-रात एक किए हुए है।

अरमान : यूपी पुलिस की हिट लिस्ट में अतीक के खास शूटर अरमान का भी नाम है. उमेश पाल की हत्याकांड में वो हेलमेट लगाकर घटनास्थल पर पहुंचा था. ये वही शख्स है, जो हमले के वक्त उस मोटरसाइकिल को चला रहा था, जिस पर गुड्डू मुस्लिम सवार था. बीते दिनों अरमान की एक तस्वीर भी सामने आई थी. हालांकि अभी वो फरार है. इसके साथ ही उमेश पाल हत्याकांड में अतीक अहमद, उसका भाई, पत्नी और अन्य भी आरोपी हैं।

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