
जेठा साजा सरानाहुली जगीश
सराज घाटी के आराध्य देवता वैकुंठपति श्री हरि विष्णु मतलोड़ा जी के दिव्य दर्शन आवश्य प्राप्त करे
स्थान:-14 हार जेठी जगह बहलीधार शिकावरी🙏
सर्वेश्वर श्री विष्णु मतलोड़ा "बड़ा देव सराज"
मतलोड़ा जी, जिन्हें वैकुंठपति श्री हरि विष्णु के रूप में पूजा जाता है, सराज घाटी के आराध्य देवता हैं। उनकी कथाएँ और पौराणिक कथाएँ स्थानीय संस्कृति और परंपराओं में गहराई से जुड़ी हुई हैं।
मतलोड़ा जी के बारे में कई कथाएँ प्रचलित हैं, जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं:
1. *देवता के रूप में पूजन*: मतलोड़ा जी को भगवान विष्णु का अवतार माना जाता है, जो सृष्टि की रक्षा और पालन के लिए जाने जाते हैं। उनकी पूजा से सुख, शांति और समृद्धि की प्राप्ति होती है।
2. *स्थानीय लोककथाएँ*: स्थानीय लोगों में मतलोड़ा जी के चमत्कारों और उनकी कृपा से जुड़ी कई कथाएँ प्रचलित हैं। इन कथाओं में अक्सर देवता की अद्भुत शक्तियों और उनके भक्तों की श्रद्धा का वर्णन होता है।
3. *तहल और अनुष्ठान*: मतलोड़ा जी के मंदिर में विभिन्न तिथियों और अवसरों पर तहल (पूजा-अर्चन) और अनुष्ठान आयोजित किए जाते हैं। इन आयोजनों में देवता की स्तुति और आराधना की जाती है, जिससे क्षेत्र में सुख और समृद्धि बनी रहे।
मतलोड़ा जी की कथाएँ और उनकी पूजा पद्धतियाँ सराज घाटी की सांस्कृतिक धरोहर का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं। ये कथाएँ न केवल धार्मिक महत्व रखती हैं, बल्कि क्षेत्र की समृद्ध लोक परंपरा को भी दर्शाती हैं।