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डा. जगन्नाथ प्रसाद की जयंती पर इलेक्ट्रो होमियोपैथी अति विशिष्ट सेवा रत्न सम्मान समारोह सम्पन्न

सीवान। बोर्ड आफ इलेक्ट्रो होम्योपैथी काम्प्लेक्स सिस्टम आफ मेडिसिन, बिहार पटना के तत्वावधान में दिनांक 19 जून'25 को जे.पी.इलेक्ट्रो होम्योपैथी मेडिकल कालेज एवं हास्पिटल, सीवान/मीरगंज में उत्तर बिहार के इलेक्ट्रो होम्योपैथी के पितामह डा.जगन्नाथ प्रसाद की जयंती के अवसर पर इलेक्ट्रो होम्योपैथी अति विशिष्ट सेवा रत्न सम्मान समारोह हर्षोल्लासपूर्वक रजिस्ट्रार डा. डी.के.सिन्हा की अध्यक्षता में मनाया गया। कार्यक्रम का प्रारम्भ स्व. डा. जगन्नाथ प्रसाद की धर्मपत्नी द्वारा दीप प्रज्जवलन कर किया गया। डा. भानु प्रकाश नारायण, डा. मोखतार प्रसाद, डा. डी. के. सिन्हा, डा. डा. ललित कुमार, डा. धर्मपाल मंडल, डा. गोविन्द कुमार सहित दो दर्जन से अधिक ई.एच.चिकित्सकों को प्रशस्ति पत्र, मेडल, स्मृति चिह्न एवं शाल देकर इलेक्ट्रो होम्योपैथी अति विशिष्ट सेवा रत्न सम्मान से सम्मानित किया गया।समारोह को संबोधित करते हुए जे.पी.ई.एच . मेडिकल कालेज एवं हास्पिटल के प्राचार्य डा.जी.एस.सत्संगी ने बताया कि इलेक्ट्रो होम्योपैथी की दवाएं विषरहित वनस्पति एवं फूलों से तैयार होती है,जिसका कोई साइड इफेक्ट नहीं होता है।इसके प्रति लोगों को जागरूक करने की आवश्यकता है। मुख्य अतिथि डा.भानु प्रकाश नारायण (गोरखपुर) ने संबोधन में कहा कि उत्तर बिहार के सीवान में आज से लगभग पचास वर्ष पहले डा.जगन्नाथ प्रसाद ने इलेक्ट्रो होम्योपैथी का अलख जगाकर जन-जन को शिक्षित करने हेतु जे.पी. ई. एच. मेडिकल कालेज एवं हास्पिटल की स्थापना की थी,उसके माध्यम से आज भी इलेक्ट्रो होम्योपैथी चिकित्सक तैयार किये जा रहें हैं,जो केवल विहार में ही नहीं बल्कि पूरे देश में इलेक्ट्रो होम्योपैथी चिकित्सक के रूप में सेवा देकर अपने परिवार का जिविकोपार्जन कर देश को बेरोजगारी की समस्या से निजात दिलाकर स्वस्थ समाज बनाने में भूमिका निभा रहे हैं। रजिस्ट्रार श्री डी.के.सिन्हा ने बिहार में इलेक्ट्रो होम्योपैथी की मान्यता हेतु डा.जी.एस.सत्संगी द्वारा किये जा रहे प्रयास की प्रशंसा की।हम सभी का पूरा सहयोग इनके साथ है। सफलता अवश्य मिलेगी। इनके अलावा डा. देवेन्द्र चौबे, डा.प्रभाकर ठाकुर, डा.मुख्तार प्रसाद,डा.ललित कुमार,डा.नागेन्द्र कुमार सत्संगी, डा.प्रशांत कुमार, डा.धनन्जय कुमार,डा.अरविन्द कुमार, डा.गोविन्द कुमार इत्यादि ने संबोधन किया।कार्यक्रम का सफल संचालन डॉ.धर्मपाल मंडल (खगड़िया)ने किया।

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